Scalping trading in Hindi, स्कैल्पिंग ट्रेडिंग क्या है?- स्कैल्पिंग ट्रेडिंग ट्रेडिंग का ही एक अन्य प्रकार है जिसमें ट्रेड छोटी-छोटी टाइम फ्रेम के लिए ट्रेड लेता है,और इसी बीच में अपना मुनाफा कमाता है, यह टाइम फ्रेम जो सेकंड से लेकर मिनटों तक चलती है। स्कैल्पिंग ट्रेडिंग करने वाले व्यक्तिका लक्ष्य छोटे-छोटे प्राइस मूवमेंट से मुनाफा कमाना होता है इसके अलावा यह परिसंपत्तियों के मूल्य में मामूली उतार-चढ़ाव होने सेलाभ कमाता है। स्कैल्पिंग ट्रेडिंग को स्टॉक, ऑप्शन ट्रेडिंग,फॉरेक्स ट्रेडिंग और फ्यूचर्स सहित विभिन्न विभिन्न बाजारों में किया जा सकता है।
ट्रेडिंग करने वाले हर किसी व्यक्ति का मुख्य उद्देश्य पैसे कमाना होता है आज के समय इस डिजिटल युग में हर कोई घर बैठे पैसे कमाना चाहता है इसलिए ट्रेडिंग और इन्वेस्टिंग इसके अलावा शेयर मार्केट काफी ज्यादा प्रसिद्ध हो चुका है ट्रेडिंग काफी प्रकार की होती है जिनमें इंट्राडे ट्रेडिंग पोजीशनल ट्रेडिंग ऑप्शन ट्रेडिंग और स्कैल्पिंग ट्रेडिंग होती है
अगर आप भी ट्रेडिंग करना चाहते हैं और स्कैल्पिंग ट्रेडिंग के बारे में विस्तार से जानना चाहते हैं कि स्कैल्पिंग ट्रेडिंग क्या है ? Scalping trading in Hindi, स्कैल्पिंग ट्रेडिंग का मतलब क्या है? Scalping trading meaning in Hindi स्कैल्पिंग ट्रेडिंग कैसे करें और स्कैल्पिंग ट्रेडिंग स्ट्रेटजी क्या होती है? चलिए विस्तार से जानते हैं –
स्कैल्पिंग ट्रेडिंग क्या है? – What is scalping trading in Hindi
स्कैल्पिंग ट्रेडिंग, ट्रेडिंग का ही एक अन्य प्रकार का तरीका है इस तरीके में कोई भी ट्रेडिंग करने वाला कुछ सेकंड से लेकर कुछ मिनटों के लिए ट्रेडिंग(Trading) में प्रवेश करते हैं, यह टाइम फ्रेम 1 मिनट से लेकर 5 मिनट के मध्य होता है यह छोटे-छोटे प्राइस मूवमेंट को पकड़ते हैं और उनसे अपना मुनाफा बनाकर ट्रेडिंग से एग्जिट कर लेते हैं।
स्कैल्पिंग ट्रेडिंग करने वालों का मुख्य उद्देश्य शेयर मार्केट(Share market)में छोटे-छोटे प्राइस मूवमेंट में होने वाले हलचल के द्वारा लाभ कमाना होता है। स्कैल्पिंग ट्रेडिंग आम तौर पर तब की जाती है जब बाजार में अस्थिरता अधिक होती है, जैसे कि शेयर बाजार के शुरुआती मिनटों के दौरान। इसके लिए फोकस और त्वरित निर्णय लेने के कौशल की आवश्यकता होती है।
स्कैल्पिंग ट्रेडिंग का मतलब क्या होता है ? – Scalping trading meaning in Hindi
स्कैल्पिंग ट्रेडिंग का हिंदी में अर्थ , सामान्य शब्दों में स्कैल्पिंग ट्रेडिंग का अर्थ “ कालाबाजारी ” से होता है सामान्य शब्दों में कहा जाए तो ट्रेडिंग की सामान्य पद्धति से हटकर ट्रेडिंग करने को स्कैल्पिंग ट्रेडिंग कहा जाता है
स्कैल्पिंग ट्रेडिंग के अंतर्गत शेयर मार्केट में शेयर(Share) के मूल्य मेंआने वाले छोटे-छोटे उतार-चढ़ाव के बीच में शेयर को खरीदना और बेचना और उनसे मुनाफा कमाना शामिल होता है, अर्थात शेयर मार्केट में थोड़ा बहुत उतार-चढ़ाव आता है तो उनका पर्याप्त रूप से फायदा उठाया जाता है 1 दिन में बहुत सारे ट्रेड किए जाते हैं और मुनाफा कमाया जाता है।
स्कैल्पिंग ट्रेडिंग कैसे करें – How to do scalping trading in Hindi
स्कैल्पिंग ट्रेडिंग करने के लिए आपको कुछ निर्देशों का पालन करना होगा
#1.सर्वप्रथम डिमैट अकाउंट ओपन करें
स्कैल्पिंग ट्रेडिंग करने के लिए आपको बार-बार ट्रेडिंग करनी होती है, इसलिए आपको कम ब्रोकरेज शुल्क के साथ में एक अच्छा और काफी अच्छे फीचर देने वाला डिमैट अकाउंट(Demat account) की आवश्यकता होगी तो आपको डिमैट अकाउंट ओपन करवाना होगा।
#2.ट्रेडिंग अकाउंट का चुनाव करें
स्कैल्पिंग ट्रेडिंग काफी तेज गति से की जाती है तो इसलिए आपको एक काफी अच्छे फीचर्स वाला और फास्ट ट्रेडिंग अकाउंट(Trading account) का चुनाव करना होगा जो आपकी लेनदेन काफी तेज बनाएं और वास्तविक समय चार्टिंग टूल प्रदान करता हो।
#3.अच्छी स्कैल्पिंग ट्रेडिंग स्ट्रेटजी का चुनाव करें :
स्काल्पिन ट्रेडिंग करने के लिए आपको अच्छी स्कैल्पिंग ट्रेडिंग स्ट्रेटजी सीखनी होगी और आपके हिसाब से अच्छी स्कैल्पिंग ट्रेडिंग स्ट्रेटजी का चुनाव करना होगा जोआपके रिक्स और ट्रेडिंग के हिसाब से फिट बैठती है। आप मूविंग एवरेज क्रॉसओवर या पैराबोलिक एसएआर जैसी ट्रेडिंग स्ट्रेटजी से शुरुआत कर सकते हैं।
#4. डेमो अकाउंट से शुरुआत करें
आपका असली पैसे को रिस्क में डालने से पहले एक अच्छा अनुभव लेने के लिए और प्रेक्टिस करने के लिए आपको डेमो अकाउंट की आवश्यकता होती हैकि आप डेमो अकाउंट से शुरुआत करें, स्कैल्पिंग ट्रेडिंग की विभिन्न स्ट्रेटजी की प्रैक्टिस करें विश्वास आने पर ही असली पैसा इन्वेस्ट करें।
#5. कम पैसों से शुरुआत करें
जब आप असली पैसे लगाकर ट्रेडिंग करना चाहते हैं तब आपको काफी कम पैसों के साथ में शुरुआत करनी है जैसे ही आपका पोर्टफोलियो बड़ा हो जाए, और आपको अच्छा अनुभव हो जाए तो समय के हिसाब से आपको अपनाइन्वेस्टमेंट बढ़ते जाना है।
#6. अपने ट्रेड की निगरानी करते रहे
स्कैल्पिंग के लिए बाज़ार और आपके व्यापार की निरंतर निगरानी की आवश्यकता होती है। यदि वे आपके अनुरूप नहीं हो रहे हैं तो त्वरित निर्णय लेने और ट्रेडों से बाहर निकलने के लिए तैयार रहें।
#7. ट्रेडिंग के समय अपनी भावनाओं पर नियंत्रण रखें
स्कैल्पिंग ट्रेडिंग काफी तनावपूर्ण हो सकती है, इसलिए अपनी भावनाओं पर नियंत्रण रखना और अपनी ट्रेडिंग योजना पर कायम रहना महत्वपूर्ण है। लालच या डर को अपने व्यापारिक निर्णयों पर हावी न होने दें।
#8. अपना रिस्क मैनेजमेंट करें
स्कैल्पिंग ट्रेडिंग में काफी ज्यादा रिस्क होता है इसलिए अगर आप भी स्कैल्पिंग ट्रेडिंग में अपने संभावित नुकसान को सीमित करना चाहते हैं तो स्टॉप-लॉस ऑर्डर सेट करें। प्रत्येक स्कैल्पिंगट्रेड पर अपनी ट्रेडिंग कैपिटल का केवल एक छोटा सा प्रतिशत ही जोखिम में डालें।
#9. हमेशा सीखते रहें
ट्रेडिंग में स्कैल्पिंगएक ऐसाट्रेडिंग सिस्टम हैजिसमें आपको हमेशा ही प्रैक्टिस करते रहनी है औरअपनी स्टेट जी में परफेक्ट होना है स्कैल्पिंग एक ऐसा कौशल है जिसमें महारत हासिल करने के लिए समय और अभ्यास की आवश्यकता होती है। इसलिए आप समय के साथ ट्रेडिंग स्ट्रेटजी सीखना जारी रखें जिससे भविष्य में आप एक अच्छे ट्रेंड बन जाओगे।
स्कैल्पिंग ट्रेडिंग के लिए रणनीतियाँ – scalping trading strategy in hindi
स्कैल्पिंग ट्रेडिंग करने के लिए आपको काफी तेज गति से निर्णय लेने होते हैं और ट्रेडिंग में एंट्री तथा एग्जिट करना होता हैइसलिए नीचे कुछ ट्रेडिंग स्ट्रेटजी दी गई है जिनका उपयोग आप अपनी ट्रेडिंग में कर सकते हैं –
- marubozu candle: स्कैल्पिंग ट्रेडिंग की इस रणनीति में या स्ट्रेटजी में हमें फुल साइज हाई वॉल्यूम कैंडल देखनी होती है। जिसमें हरे रंग का मारुबोज़ू मार्केट के अप ट्रेड के रुझान को दर्शाता की मार्केट ऊपर की ओर जा रहा है, जबकि लाल मारुबोज़ू मार्केट के डाउनफॉल को दर्शाता है की मार्केट नीचे की ओर जा रहा है।
- support and resistance levels: स्कैल्पिंग ट्रेडिंग की इस ट्रेडिंग स्ट्रेटजी में हमें सपोर्ट एंड रेजिस्टेंस लेवल को पहचाना होता है और फिर जब बाजार इन स्तरों से बाहर निकलता है या दिशा उलटता है तो ट्रेड लेना शामिल है।
- pullback: इस रणनीति में बाजार के सपोर्ट एंड रेजिस्टेंस स्तर से बाहर निकलने की प्रतीक्षा करना और फिर जब बाजार टूटे हुए स्तर को फिर से परखने के लिए वापस खींचता है तो विपरीत दिशा में व्यापार करना शामिल है।
- triangle breakout : स्कैल्पिंग ट्रेडिंग की इस स्ट्रेटजी में मार्केट में तब ट्रेड लिया जाता है जब मार्केट में ट्रायंगल ब्रेकआउट शुरू हो जाए, खासकर यदि ब्रेकआउट उच्च मात्रा के साथ होता है।
Moving Average Crossover Strategy | मूविंग एवरेज क्रॉसओवर स्ट्रेटजी
दो एक्सपोनेंशियल मूविंग एवरेज (EMA) का उपयोग करें, एक 5-अवधि के साथ और दूसरा 20-अवधि के साथ।
- जब 5-अवधि EMA 20-अवधि EMA से ऊपर हो जाए तो खरीदें।
- जब 5-अवधि का EMA 20-अवधि के EMA से नीचे चला जाए तो बेचें।
Parabolic SAR Strategy | परवलयिक एसएआर स्ट्रेटजी
- जब शेयर की कीमत के नीचे नीले बिंदु दिखाई दें तो खरीदें।
- जब नीले बिंदु शेयर की कीमत के ऊपर दिखाई दें तो बेचें।
संकेतों की पुष्टि करने और नकली संकेतों से बचने के लिए वॉल्यूम संकेतक का उपयोग करें। अतिरिक्त पुष्टि के लिए वॉल्यूम मूविंग एवरेज लागू करने पर विचार करें।
स्कैल्पिंग ट्रेडिंग के फायदे – Scalping trading benefits in Hindi
स्कैल्पिंग ट्रेडिंग के कुछ लाभ क्या हैं?
स्कैल्पिंग ट्रेडिंग के कुछ फायदों में बाजार की छोटी प्राइस मूवमेंट को पकड़ने, बहुत कम मुनाफा लेने और 1 दिन में कई सारी ट्रेड करना, करने की क्षमता शामिल है।
कम रिस्क का होना
चूंकि आप थोड़े समय के लिए किसी व्यापार में रहते हैं, इसलिए प्रतिकूल घटनाओं की संभावना कम होती है, जिससे आपका जोखिम जोखिम कम हो जाता है और नुकसान की संभावना कम हो जाती है।
लाभ की उच्च संभावना
स्कैल्पिंग ट्रेडिंग में बार-बार ट्रेडिंग करते हैं जिससे हम छोटा-छोटा मुनाफा कमाते हैं और यह छोटा-छोटा मुनाफा काफी ज्यादा हो जाता है ऐसे में छोटे लाभ के साथ भी, लाभ की संभावना अधिक है।
बार-बार ट्रेडिंग होना
शेयर मार्केट में छोटे-छोटे प्राइस मूवमेंट होते रहते हैं और मार्केट में लगातार हलचल होती रहती है तो ऐसे में स्कैल्पिंग ट्रेडिंग करने के लिए एक अच्छा मौका मिल जाता है जिससे एक ट्रेड लेने वाला कई बार बहुत ज्यादा ट्रेड लेता है, इसलिए आपको अधिक ट्रेडिंग अवसर मिलेंगे।
स्कैल्पिंग ट्रेडिंग के नुकसान – Scalping trading disadvantage in Hindi
स्कैल्पिंग ट्रेडिंग के कई नुकसान हैं, जिनमें ज्यादा ब्रोकरेज फीस, क्विक डिसीजन लेने की क्षमता, और यदि बाजार आपके खिलाफ चलता है तो बड़े नुकसान की संभावना शामिल है।
क्विक एग्जीक्यूट की आवश्यकता
स्कैल्पिंग ट्रेडिंग करने के लिए आपको बहुत ही फास्ट तरीके से एग्जीक्यूट करने की आवश्यकता होती हैक्योंकि इसमें मूवमेंट बहुत ही जल्दी होता है, क्योंकि छोटी सी चूक भी लाभ को हानि में बदल सकती है।
सही ट्रेडिंग स्ट्रेटजी की आवश्यकता
स्कैल्पिंग ट्रेडिंग में ट्रेडिंग करने के लिए आपको एक सही ट्रेडिंग स्ट्रेटजी की आवश्यकता होती है अगर आपसही ट्रेडिंग नहीं कर सकते हैं तो आपको बड़ा नुकसान करवा सकती है पैसे में आपको इंट्री और एग्जिट प्वाइंट पकड़ना बहुत ही आवश्यक है।
उच्च ब्रोकरेज फीस
स्कैल्पिंग ट्रेडिंग करते समय आपको कई बार ट्रेडिंग करनी पड़ती है, ऐसे में आपको ब्रोकरेज फीस भी ज्यादा देनी होती है, बार-बार व्यापार करने से उच्च ब्रोकरेज लागत हो सकती है, जो मुनाफे में कमी ला सकती है।
ट्रेडिंग पर नजर रखना
स्कैल्पिंगट्रेनिंग करने के लिए आपको लगातार अपने ट्रेडिंग पर नजर रखनी होगी जिससे कि आपका संपूर्ण समय ट्रेडिंग में ही चला जाएगा और यह बहुत ही जरूरी है।
शुरुआती लोगों के लिए नुकसान
स्कैल्पिंग ट्रेडिंग करने के लिए आपको काफी ज्यादा एक्सपीरियंस की आवश्यकता होगी और कोई डिसीजन लेने की क्षमता होनी चाहिए ऐसे में अगर आप भी ट्रेडिंग में नए-नए हैं तो यह आपके लिए काफी नुकसानदायक साबित हो सकता है क्योंकि यह उच्च अनुभव वाले लोगों के लिए सही होता है।
स्कैल्पिंग ट्रेडिंग तनाव पूर्ण होना
स्कैल्पिंग ट्रेडिंग काफी तनावपूर्ण और चिंताओं से भरा होता है क्योंकि इस ट्रेडिंग में काफी जल्दी प्राइस मोमेंट होती है और मार्केट में कभी भी हलचल हो सकती है तो ऐसे में उन लोगों के लिए काफी तनावपूर्ण हो सकता है जो मार्केट में अभी भी नए-नए आए हैं और ज्यादा अनुभव नहीं है।
स्कैल्पिंग ट्रेडिंग के लिए सुझाव – Scalping trading tips in Hindi
स्कैल्पिंग ट्रेडिंग के लिए कुछ महत्वपूर्ण सुझाव या टिप्स नीचे दिए गए हैं जिनका उपयोग आप अपनी ट्रेडिंग को अच्छी करने के लिए कर सकते हैं
सही बाजार का चुनाव
स्कैल्पिंग ट्रेडिंग करने के लिए आपको सही बाजार का चुनाव करना आवश्यक है आपको हाय लिक्विडिटी औरअत्यधिक वोलैटिलिटी वाला मार्केट का चुनाव करना है क्योंकि ऐसे मार्केट अत्यधिक लाभ देने की मौके प्रदान करते हैं क्योंकि वे अधिक ट्रेडिंगि क अवसर और कम प्रसार प्रदान करते हैं।
टेक्निकल एनालिसिस सीखें
आपको बहुत ही छोटे समय के लिए प्राइस पैटर्न को समझने के लिए टेक्निकल एनालिसिस को आना बहुत ही आवश्यक है आपको टेक्निकल एनालिसिस सीखते रहना चाहिए और मार्केट रुझानों की पहचान करने के लिए टेक्निकल एनालिसिस उपकरणों और संकेतकों की एक मजबूत समझ विकसित करें।
छोटे-छोटे लक्ष्य रखें
आपको सबसे पहले अपने लक्ष्य को बहुत ही छोटा रखना है और पहले से ही निर्धारित करना है और लालच या भय-आधारित निर्णयों से बचते हुए उन पर कायम रहें।
बहुत ही मजबूत रिस्क मैनेजमेंट करें
संभावित नुकसान को सीमित करने के लिए स्टॉप-लॉस ऑर्डर का उपयोग करें और प्रत्येक ट्रेडिंग पर अपनी ट्रेडिंगिक पूंजी के पूर्व निर्धारित प्रतिशत से अधिक जोखिम से बचें।
ट्रेडिंग स्ट्रेटजी बनाएं:
स्कैल्पिंग ट्रेडिंग करने के लिए आपको एक अच्छी ट्रेडिंग स्ट्रेटजी बनानी होगी जिसके द्वारा आप एंट्री और एग्जिट प्वाइंट निर्धारण कर सके, रिस्क मैनेजमेंट और रिस्क लेने की क्षमता के हिसाब से और लाभ लक्ष्यों की रूपरेखा तैयार करे।
एक विश्वसनीय ब्रोकर चुनें:
कम कमीशन, तेज निष्पादन गति और एक स्थिर ट्रेडिंग प्लेटफॉर्म वाले ब्रोकर का चयन करें।
अनुशासित और धैर्यवान रहें:
आवेगपूर्ण ट्रेडिंग से बचें और हार के दौर में भी अपनी ट्रेडिंग योजना पर कायम रहें।
भावनाओं पर नियंत्रण रखें:
डर या लालच जैसी भावनाओं को अपने निर्णय पर हावी न होने दें और आवेगपूर्ण निर्णय न लें।
लगातार सीखें और अपनाएं:
अपने स्केलिंग कौशल को बेहतर बनाने के लिए बाजार के रुझानों, समाचारों और नई ट्रेडिंग रणनीतियों पर अपडेट रहें।
स्केलपर्स एक दिन में कितने ट्रेड करते हैं?
स्केलपर्स एक दिन में ज्यादातर 30 40 या ज्यादा से ज्यादा शॉर्ट ट्रेड करते हैं लेकिन यह उनके अनुभव के ऊपर निर्भर करता है ज्यादातर नए वाले कुछ ही कम करते हैं
क्या स्कैल्प ट्रेडिंग लीगल है?
हां ,स्काल्पिंग ट्रेडिंग एकदम लीगल है आप किसी भी ट्रेडिंग प्लेटफॉर्म पर स्काल्पिंग ट्रेडिंग कर सकते हैं
स्कैल्प ट्रेड कितने समय तक चलना चाहिए?
स्कैल्प ट्रेडिंग कुछ सेकंड से लेकर कुछ मिनट के मध्य चलना चाहिए जैसे कि उदाहरण के लिए आप कुछ सेकेंड के लिए स्काल्पिंग कर सकते हैं इसके अलावा ज्यादा से ज्यादा आपको 5 मिनट तक ही करना चाहिए
स्कैल्प ट्रेडिंग कैसे काम करती है?
स्कैल्प ट्रेडिंग शेयर मार्केट में छोटी-छोटी प्राइस मूवमेंट के साथ में किसी भी अच्छे ट्रेडर्स को स्काल्पिंग ट्रेडिंग करने का मौका प्रदान करती है जिससे वह ज्यादा ट्रेडिंग करके मुनाफा कमाता है