Sensex kya hai | सेंसेक्स क्या है ? सेंसेक्स का अर्थ ,परिभाषा और गणना – Sensex Meaning in Hindi

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भारतीय शेयर मार्केट में सेंसेक्स एक बहुत ही महत्वपूर्ण घटक है सेंसेक्स भारतीय स्टॉक एक्सचेंज मुंबई स्टॉक एक्सचेंज का एक बेंचमार्क है जिसके द्वारा मार्केट की स्थिति का पता लगाया जाता है और मार्केट में होने वाले हलचल का अनुमान लगाया जाता है अपने हर रोज न्यूज़ अखबारों में अवश्य सुना होगा कि आज सेंसेक्स इतने अंक ऊपर उठा और इतने अंक नीचे गिर गया।

निफ्टी और सेंसेक्स दोनों ही भारतीय वित्तीय बाजार या शेयर मार्केट के एक  बहुत ही महत्वपूर्ण सूचकांक है जो अलग-अलग मार्केट स्थित को दर्शाते हैं सेंसेक्स की स्थापना के समय से लेकर अभी तक सेंसेक्स में मार्केट में काफी ज्यादा बढ़ हासिल की है और आज सेंसेक्स को स्थापित किए हुए लगभग 38 साल हो चुके हैं सेंसेक्स की स्थापना 1986 में की गई थी । 

अगर आप भी जानना चाहते हैं सेंसेक्स क्या है , सेंसेक्स की स्थापना कब हुई , सेंसेक्स का पूरा नाम क्या है , सेंसेक्स की गणना कैसे करें , आपके लिए यह लेख काफी अच्छा होने वाला है और आपकी जानकारी में काफी वृद्धि करेगा 

Sensex Meaning in Hindi

विषय सूची

Sensex kya hai –  सेंसेक्स क्या है ? 

सेंसेक्स दो शब्दों से मिलकर बना है – sensitive और index से मिलकर सेंसेक्स शब्द का निर्माण होता है जिसका अर्थहोता है कि Stock Exchange Sensitive Index ( संवेदनशील और सूचकांक)  सेंसेक्स भारतीय शेयर मार्केट के सबसे पुराने स्टॉक एक्सचेंज BSE मुंबई स्टॉक एक्सचेंज का इंडेक्स बेंच मार्क है

 Sensex  BSE के शीर्ष 30 कंपनियों का एक समूह होता है Sensex इन्हीं 30 कंपनियों की स्थिति का प्रदर्शन बताता है कि यह ऊपर जा रहे हैं नीचे जा रहे हैं या इनकी अवस्था संतुलित है दिनभर इन कंपनियों के शेयरों पर नजर रखें शाम को यह एक संतुलित वैल्यू  प्रदान करता है ताकि किसी भी आम ट्रेडर को इन कंपनियों के शेयरों में होने वाले उतार-चढ़ाव तथा मंदी और चढ़ाई के बारे में आसानी से जानकारी मिल सके 

 

sensex meaning in hindi – सेंसेक्स का मतलब क्या होता है

सेंसेक्स का मतलब होता है Stock Exchange Sensitive Index ( संवेदनशील और सूचकांक) यह BSE का एक इंडेक्सिंग बेंच मार्क अर्थात सूचकांक है

BSE [मुंबई स्टॉक एक्सचेंज ]  भारतीय शेयर मार्केट का सबसे पुराना स्टॉक एक्सचेंज है इसकी स्थापना 1875  हुई थी  इसको लगभग 140 साल का एक्सपीरियंस है इसके अंदर देश की 30 सबसे महत्वपूर्ण कंपनियां आती हैं market cap के हिसाब से देखा जाए तो यह भारत के कुल GDP  के 37% होता है  जो कि भारतीय शेयर मार्केट के ट्रेंड को सेट करने में एक बहुत ही महत्वपूर्ण भूमिका निभाती है 

  सामान्य शब्दों में कहा जाए तो Sensex बड़ी-बड़ी कंपनियों और इन्हीं 30 शीर्ष कंपनियों के शेयरों के भाव को आपने के लिए बनाया गया एक सूचकांक है जो इन  30 कंपनियों के भाव का मूल्यांकन करता है

 

Sensex full form in Hindi – सेंसेक्स का पूरा नाम क्या होता है 

 Sensex शब्द की शुरुआत शेयर मार्केट में  दीपक मोहनी द्वारा  की गई थी और यह BSE का  एक  इंडेक्सिंग बेंच मार्क अर्थात सूचकांक है

Sensex की फुल फॉर्म Stock Exchange Sensitive Index होती है. Sensex को हिन्दी मे संवेदी सूचकांक कहते हैं जो Mumbai Stock Exchange का एक सूचकांक है.

Sensex का hindi में full form संवेदी सूचकांक होता है जोकि Sensitive + index इन दोनों शब्दों  से मिलकर बना है Sensex  भारतीय शेयर मार्केट में एक बहुत ही महत्वपूर्ण स्थान रखता है 

 

Sensex कैसे बनता है या Sensex का निर्धारण कैसे होता है

दोस्तों अभी तक हमने बात की थी कि Sensex क्या है  और Sensex  किसे कहते हैं  अब हम बात करने वाले हैं कि Sensex का निर्धारण कैसे होता है और यह सेंसेक्स कैसे बनता है 

जैसा कि आप जानते हो कि Sensex  भारत के सबसे पुराने शेयर मार्केट के स्टॉक एक्सचेंज BSE अर्थात  मुंबई स्टॉक एक्सचेंज से संबंधित है या मुंबई स्टॉक एक्सचेंज का ही एक हिस्सा है Sensex का निर्माण  बॉम्बे स्टॉक एक्सचेंज पर  लिस्टेड 30 प्रमुख कंपनियों के शेयर के भाव से मिलकर  हुआ है  जबकि BSE  अर्थात मुंबई स्टॉक एक्सचेंज पर 6000 से अधिक कंपनियां लिस्टेड हैं 

जब Sensex  की गणना की जाती है तब  मुंबई स्टॉक एक्सचेंज की  शीर्ष 30 कंपनियों को लिया जाता है और अन्य कंपनियों को इसलिए छोड़ दिया जाता है क्योंकि उनके शेयर के भाव मार्केट में इतने अच्छे नहीं होते हैं और लोग उन कंपनियों के शेयरों को इतना नहीं खरीदे होते हैं और उनकी इतनी रुचि नहीं होती है

 जबकि उन टॉप 30  कंपनियों के शेयर मार्केट में बहुत ही ज्यादा मात्रा में बिक रहे होते हैं और उनके भाव भी बहुत अच्छे होते हैं और यह कंपनियां अपने आप का प्रदर्शन भी बहुत ही बेहतर कर रहे हैं  और इनके प्रोडक्ट की मार्केट में डिमांड भी ज्यादा होती है और सप्लाई भी अच्छी होती है यह 30 कंपनियां हमारे देश के 13  अलग-अलग  सेक्टर से चुनी जाती हैं 

BSE की शीर्ष 30 कंपनियों को चुनने के लिए कुछ बैंक के व्यक्ति और, देश के अर्थशास्त्री और, जो  अर्थशास्त्र का अच्छा ज्ञान रखते हैं यह सभी मिलकर एक कमेटी(Stock exchange index committee) बनाते हैं और  शीर्ष 30 कंपनियों का चुनाव करते हैं

 सेंसेक्स की स्थापना कब हुई थी ? – भारत में सेंसेक्स कब शुरू हुआ?

भारत में सेंसेक्स की स्थापना 2003 में हुई थी तब से अब तक सेंसेक्स में काफी बढ़त हासिल कर ली है 

 

Sensex की शुरुआत कब और कहां हुई थी 

जैसा कि दोस्त तो आप ऊपर पढ़ चुके हो कि Sensex  की शुरुआत BSE  अर्थात मुंबई स्टॉक एक्सचेंज से हुई है और यह हमारे देश का सबसे पुराना स्टॉक एक्सचेंज है  और इसमें हमारे देश की जीडीपी का  कुल 30%  है 

Sensex  शब्द की उत्पत्ति Sensitive + index से मिलकर हुई है SENSEX  शब्द का इजाद  दीपक मोहनी  द्वारा किया गया था Sensex का आधार वर्ष 1978-79  माना गया है लेकिन  इसको  वास्तविक रुप से शेयर मार्केट में 1986 में स्थापित किया गया या लागू किया गया था इसके बाद से Sensex   बॉम्बे स्टॉक एक्सचेंज bse  का एक इंडेक्सिंग  बेंच मार्क बन गया अर्थात एक सूचकांक बन गया 

 

Sensex कैसे घटता है और कैसे बढ़ता है 

 Sensex का  कार्य ही  शेयर मार्केट  की शीर्ष कंपनियों  के शेयर की जानकारी प्रदान करना होता है  Sensex BSE की शीर्ष  30 कंपनियों के शेयर्स के बाजार भाव पर निगरानी रखता है और उसके उतार-चढ़ाव को एनालिसिस करता है

और उसकी जानकारी हर ट्रेडर तक आसानी से पहुंच आता है जब  लिस्टेड कंपनियों के शेयर के भाव चढ़ते हैं तब  सेंसेक्स चढ़ता है और जब इन कंपनियों के शेयर के भाव गिर जाते हैं या कम हो जाते हैं तब सेंसेक्स गिर जाता है

किसी भी कंपनी के शेयर  के भाव का ऊपर और नीचे जाने में हमारे देश का बाजार बहुत ही महत्वपूर्ण भूमिका निभाता है  हमारे बाजार में किसी भी कंपनी के वस्तु की यह चीज की DEMAND और SUPPLY  पर निर्भर करती है

यदि किसी कंपनी का कोई भी प्रोडक्ट बहुत अच्छा है और वह मार्केट में उसकी डिमांड अच्छी है और सप्लाई कम है तो उस चीज की कीमत बढ़ जाती है और कंपनी को अच्छा मुनाफा होता है और इसी में सेंसेक्स भी अपनी बढ़त बनाता है

 यदि किसी चीज की मार्केट में डिमांड कम है और उसकी सप्लाई बहुत ज्यादा है तब ऐसे में कंपनी को बहुत ही ज्यादा घाटा होता है और सेंसेक्स भी नीचे गिरता है 

 सेंसेक्स में कितनी कंपनी होती है ? – sensex me kitni company hai

सेंसेक्स में 30 कंपनियां होती हैं इन शीर्ष 10 कंपनियों का चुनाव करने के लिए BSE की शीर्ष 30 कंपनियों को चुनने के लिए कुछ बैंक के इकोनामिक एडवाइजर  और, देश के अर्थशास्त्री और, जो  अर्थशास्त्र का अच्छा ज्ञान रखते हैं यह सभी मिलकर एक कमेटी(Stock exchange index committee) बनाते हैं और  शीर्ष 30 कंपनियों का चुनाव करते हैं 

टॉप 30 कंपनियों का चुनाव प्रक्रिया कुछ इस प्रकार है

नामांकित कंपनी को BSE  के अंदर लिस्ट हुए पूरे 1 साल होने चाहिए अर्थात  उस चयनित कंपनी  के शेयर को BSE  पर पूरे 1 साल पहले लिस्ट होना चाहिए 

पूरे साल में जिस भी दिन शेयर बाजार खुला हो तब उस कंपनी के शेयर खरीदने और बेचे जाने चाहिए अर्थात पूरे साल भर उन कंपनियों के शेयर के ऊपर ट्रेड होनी चाहिए 

हर दिन उनकी खरीदने और बेचने की या ट्रेड करने की वैल्यू के हिसाब से वह कंपनियां देश की शीर्ष 150  कंपनियों के अंतर्गत आनी चाहिए अर्थात वह कंपनियां अपने वैल्यू के हिसाब से देश की टॉप 150   ग्रुप में शामिल होनी चाहिए

 

बेहतर प्रदर्शन करने वाली या Sensex  में  शामिल होने वाली कंपनियां – BSE sensex top companies list in Hindi

भारतीय शेयर मार्केट में  सन 1986  पहली बार TOP 30 कंपनी को मिला कर कंपनी को मिला कर एक सूचकांक का निर्माण किया था  जिसका Sensex  है और इस सेंसेक्स ग्रुप में शीर्ष 30 कंपनियां  निम्नलिखित है जो कि हमारे भारत के अर्थव्यवस्था में एक अपना महत्वपूर्ण स्थान रखती है और हमारी जीडीपी में अपना सहयोग देती है 

  1. Asian Paints 
  2. Adani ports 
  3. Axis Bank Private Limited 
  4. Bharti Airtel Ltd 
  5. Bajaj Auto Ltd
  6. Coal India Ltd
  7. Cipla
  8. Dr Reddy Laboratories Ltd 
  9. State Bank of India
  10. Kotak Mahindra Bank
  11. HDFC Bank Ltd 
  12. Hero Motor Corps Ltd 
  13. Infosys Ltd
  14.  Lupin 
  15. Wipro 
  16. Tata Steel
  17. Tata consultancy Service Ltd 
  18. Tata Motors DVR Ordinary 
  19. Tata Motors 
  20. Sun Pharma Industries Ltd 
  21. Mahindra and Mahindra Ltd
  22. Maruti Suzuki India Ltd 
  23. Reliance Industries 
  24. ICICI Bank Ltd
  25. ITC
  26. NTPC Ltd
  27. Oil and natural gas corporation Ltd
  28. Larsen and ToubroLtd
  29. Hindustan Unilever
  30. Power Grid Corporation of India Ltd 

इस समय भारत के बाजारों में इन कंपनियों का अपना अलग ही दबदबा है और इन कंपनियों के वस्तुओं की डिमांड और सप्लाई मार्केट में बहुत ही ज्यादा है और इनसे ज्यादा फेमस है हिंदुस्तान युनिलीवर  यूनीलीवर टाटा जियो रिलायंस इत्यादि 

 

Sensex के निर्धारण से  होने वाले फायदे – Sensex benefits in Hindi 

सेंसेक्स का सामान्य कार्य होता है कि व्यक्ति को बाजार के बारे में जानकारी देना जैसे कि बाजार कितना चढ़ा है कितना उतरा है और कंपनियों के शेयरों के बारे में उनको  एनालिसिस करने के लिए सहायता करना ताकि निवेशक बाजार के हालातों के बारे में जान सके और अपना निवेश कर सकें

  Sensex  के कुछ ऐसे भी फायदे होते हैं जो कि प्रत्यक्ष रूप से नहीं दिखते हैं लेकिन अप्रत्यक्ष रूप से वह दिखी जाते हैं जैसे की मार्केट के हालातों के बारे में बताना और भारतीय बाजारों के कारण कंपनियों के आर्थिक हालातों के बारे में जानकारी देना ऐसे ही कुछ फायदे हैं चलिए जानते हैं 

जब सेंसेक्स ऊपर जाता है तब निवेशक अपना पैसा उस कंपनी में लगाता है और निवेशक का पैसा लगाने का मतलब है कि यह कंपनी और ग्रो होगी तथा अपना व्यापार को और ज्यादा विस्तार करेगी इसके लिए उन्हें और ज्यादा वर्कर चाहिए होंगे फल स्वरुप देश में बेरोजगारी दूर होगी 

जब सेंसेक्स ऊपर जाता है तब इसका मतलब होता है कि हमारे देश में विदेशी निवेशकों का निवेश प्रत्यक्ष रूप से होता है और  हमारे देश के आर्थिक कोष में विदेशी मुद्राओं का भंडारण बढ़ता है जिसके कारण हमारे भारतीय रुपया INR  मजबूत होता है जिसके फलस्वरूप भारतीय बाजारों में कीमतें सस्ती होती है और आयात करते वक्त हम उसी विदेशी मुद्रा का प्रयोग कर सकते हैं 

90 के दशक में जब Sensex आया था तब इसकी  वैल्यू सिर्फ 1000  अंकों तक ही थी जबकि उसके बाद का ग्रो होकर और यह आगे की ओर अग्रसर हुआ जिसके फलस्वरूप अब इसकी वैल्यू 72000 से भी आगे जा चुकी है और भविष्य में यह और भी आगे जाएगी अतः निवेशकों को अच्छा फायदा पहुंचाएगी 

 

सेंसेक्स कितने बजे खुलता है?

 सेंसेक्स खुलने का समय 9.15 a.m. – 3.30 P.M. तक होता है

सेंसेक्स में कितनी कंपनी होती है?

सेंसेक्स में 30 मुख्य कंपनियां होती हैं जिनका चुनाव बड़े-बड़े अर्थशास्त्री और अन्य संस्थाओं के लोग मिलकर करते हैं

भारत में सेंसेक्स कब शुरू हुआ?

भारत में सेंसेक्स की शुरुआत 1 Jan, 1986 में की गई थी तब यह 1000 पॉइंट के साथ में शुरू हुआ था आज इसकीवैल्यू लगभग 72000 बिंदु को पार कर गई है

भारत का सबसे बड़ा शेयर बाजार कौन सा है?

भारत का सबसे बड़ा शेयर बाजार नेशनल स्टॉक एक्सचेंज है हालांकि मुंबई स्टॉक एक्सचेंज भी भारत का सबसे पुराना मार्केट है

बीएसई का मालिक कौन है?

BSE का मालिक कोई भी एक मालिक नहीं है इसका ज्यादातर मालिकाना हक बीमा कंपनियों के पास में है

सेंसेक्स में चढ़ाव का क्या तात्पर्य है?

सेंसेक्स में चढ़ा इसका अर्थ होता है कि सेंसेक्स में शामिल उन 30 कंपनियों के शेयर ऊपर चढ़े हैं

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